क्या हिंदू दत्तक ग्रहण एवं भरण-पोषण अधिनियम, 1956 के अंतर्गत वैध दत्तक ग्रहण को दत्तक पिता या माता या किसी अन्य व्यक्ति द्वारा रद्द किया जा सकता है?

  1. हाँ
  2. नहीं
  3. केवल दत्तक माता द्वारा
  4. इनमे से कोई भी नहीं।

Answer (Detailed Solution Below)

Option 2 : नहीं

Detailed Solution

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सही उत्तर विकल्प 2 है।

Key Points धारा 15: वैध दत्तक ग्रहण रद्द नहीं किया जाएगा।

  • कोई भी वैध दत्तक ग्रहण दत्तक पिता या माता या किसी अन्य व्यक्ति द्वारा रद्द नहीं किया जा सकता है, न ही दत्तक ग्रहण किया गया बच्चा अपनी स्थिति को त्यागकर अपने जन्में परिवार में वापस जा सकता है।
  • वैध दत्तक ग्रहण के प्रभाव:

    • गोद लिए गए बच्चे को उसके दत्तक पिता/माता की प्राकृतिक संतान माना जाता है।
    • गोद लिए गए बच्चे के मूल परिवार के साथ सभी संबंध गोद लेने की तिथि से समाप्त हो जाते हैं।
    • बच्चा किसी ऐसे व्यक्ति से विवाह नहीं कर सकता जिससे वह गोद लेने से पहले विवाह नहीं कर सकता था।
    • गोद लेने से पहले बच्चे में निहित संपत्ति, दायित्वों के अधीन, निहित बनी रहेगी।
    • गोद लिया गया बच्चा दत्तक परिवार के किसी भी व्यक्ति को किसी भी संपत्ति से वंचित नहीं करेगा, जो गोद लेने से पहले उसके पास निहित थी । (अर्थात्, बच्चे को गोद लेने से दत्तक परिवार के सदस्यों और अधिकारों पर कोई प्रभाव नहीं पड़ता है)।

Additional Information धारा 16 - दत्तक ग्रहण का पंजीकरण।

  • इसमें दस्तावेजों के रजिस्ट्रार के पास दत्तक ग्रहण के पंजीकरण का प्रावधान है।
  • यदि दत्तक ग्रहण पंजीकृत है, तो दोनों पक्षों द्वारा विधिवत हस्ताक्षरित पंजीकृत दस्तावेज साक्ष्य के रूप में कार्य करता है, लेकिन यह साक्ष्य का निर्णायक प्रमाण नहीं है।
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